मेरे होंठों पर ठहरती हंसी हो तुम, मेरे दिल में धड़कती धड़कन हो तुम,तुम्हें क्या बताऊं कि क्या हो तुम,सच तो यह है, मेरी जान हो तुम।
मेरी बस एक तमन्ना थी,जो हसरत बन गई, कभी तुमसे दोस्ती थी, जो अब मोहब्बत बन गई
कुछ इस तरह शामिल हुए तुम मेरी जिंदगी में,कि सिर्फ तुझे ही सोचते रहना मेरी आदत बन गई
जिसे हर दम सपनों में पाया हैजिसका ख्याल हर पल मन में आया हैअब तो कहना ही पड़ेगावैलेंटाइन इजहार का मौका लाया है
तुम्हारे नाम को होठों पर सजाया है मैंने,तुम्हारी रूह को दिल में बसाया है मैंने,दुनिया आपको ढूंढते ढूंढते हो जाएगी पागल,दिल के ऐसे कोने कोने में छुपाया है मैंने
कोई तारीख भूल जाऊं तो थोड़ा हटकर याद दिला देना रूठना मत चाहे हालात कितने ही बुरे क्यों ना हो मुझे मोहब्बत है तुमसे यह भूलना मत
कसूर तो था इन निगाहों काजो चुपके से दीदार कर बैठाहमने तो खामोश रहने की ठानी थीपर बेवफा यह जुबान इजहार कर बैठा
वो दर्द ही क्या जो आँखों से बह जाए,वो खुशी ही क्या जो होठों पर रह जाए,कभी तो समझो मेरी खामोशी को,वो बात ही क्या जो लफ्ज आसानी से कह जाए।
मेरी दीवानगी की कोई हद नहीं,तेरी सूरत के सिवा कुछ याद नहीं,मैं हूँ फूल तेरे गुलशन का,तेरे सिवा मुझ पे किसी का हक नहीं।
मेरे बस में नहीं अब हाल-ए-दिल बयां करना,बस ये समझ लो, लफ्ज कम मोहब्बत ज्यादा है।
मेरी बस एक तमन्ना थी जो हसरत बन गयी,कभी तुमसे दोस्ती थी अब मोहब्बत बन गयी,कुछ इस तरह शामिल हुए तुम जिंदगी में की,सिर्फ तुझे ही सोचते रहना मेरी आदत बन गयी।
बहुत छोटी सी लिस्ट है मेरी ख्वाहिशों की,पहली ख्वाहिश भी तुम आखिरी भी तुम।
हम तेरे साथ चलेंगे तू चले ना चले,तेरा हर दर्द सहेंगे तू कहे या ना कहे,
हम चाहते है की तुम सदा खुश रहो,हम चाहे रहे या ना रहे।